कुछ लोग आपको प्रेरणा देते हैं, पर दूसरे आपकी एनर्जी निचोड़ लेते हैं
हमारा दिलो-दिमाग लोगों के साथ आपसी आदान-प्रदान से बहुत प्रभावित होता है। यह उन बातों के लिए विशेष रूप से सच है जिन्हें हम रोजाना करते हैं। कुछ व्यक्ति ऐसे हैं जो आपको प्रेरणा देते हैं, और आपका मूड ठीक कर देते हैं। वे आपको ऊर्जा और पॉजिटिविटी देते हैं।
फिर भी, वैसे व्यक्ति भी हैं जो सभी तरह की नेगेटिव भावनाओं की जड़ होते हैं। यह उनकी जानकारी में आए बगैर भी हो सकता है। वे हमें थका डालते हैं।
इस थकावट का शारीरिक परिश्रम से कुछ भी लेना-देना नहीं है। यह भारी बोझ उठाकर ले जाने या मैराथान दौड़ने जैसा कुछ भी नहीं है। हम मानसिक थकावट के बारे में बात कर रहे हैं।
यह ऐसी बात है जिसे जानने के लिए न्यूरोलॉजी और मनोविज्ञान दोनों ही आपको कहते हैं। इसे आपको जानना चाहिए। अगर आप बहिर्मुखी यानी एक्स्ट्रोवर्ट हैं तो आपका मस्तिष्क अंतर्मुखी (इन्ट्रोवर्ट) व्यक्तियों के मुकाबले अलग ढंग से काम करता है।
उदाहरण के लिए, किसी अंतर्मुखी दिमाग को तनहाई के पलों की जरूरत होती है। ये पल उन्हें अपनी “बैटरी रिचार्ज” करने का मौका देते हैं।
कई घंटों तक लगातार लोकाचार के दबाव का सामना करना उनके लिए मुश्किल काम होता है। अगर वे किसी बातूनी, कौतुहल वाले, आलोचक या सनकी व्यक्ति के साथ होते हैं तो उन्हें संघर्ष करना पड़ सकता है। ये लोग उसे दिमागी तौर पर बेचैन कर सकते हैं।
सोशल होने के हम सभी के अपने-अपने स्तर होते हैं। फिर भी, कुछ ऐसे लोग हैं जिनकी अपनी अलग चमक होती है। वे अपने आसपास के लोगों के लिए खुशियाँ लाते हैं।
वहीं दूसरी ओर, ऐसे लोग भी हैं जिन्हें हर समाधान में कोई समस्या दिखाई देती है। शुरुआत शांतिपूर्ण होते हुए भी ये कोई परेशानी खड़ी कर देते हैं।
इस लेख में, हम इन सच्चाइयों को बारीकी से देखेंगे। आखिरकार, यह सब हमारे साथ रोज होता है!
प्रेरणा देने वाले व्यक्ति
आपके मित्रों और पारिवारिक सर्कल में हम सबके लिए कोई न कोई होता है, जो प्रेरणा देता है। ये हमारे लिए बेशकीमती खजाना होते हैं। क्योंकि वे रोज हमें बनाने, हमें गढ़ने और विकसित करने का कोई न कोई तरीका ढूँढ़ लेते हैं।
ये लोग हमारे जीवन में लैंडमार्क की तरह होते हैं। ये हमें सहारा देते हैं। वे हमें दिशा भी देते हैं, क्योंंकि वे पेड़ों की झुंड में हमें जंगल का दीदार कर पाने में मदद करते हैं।
उनका ज्ञान किताबों से नहीं आता। यह उनकी सामान्य समझ से आता है। उन्होंने यह ज्ञान एक चिंतनशील, अंतर्ज्ञानी, और प्रबुद्ध दिमाग के जरिए हासिल किया है।
आइए उन दूसरी विशेषताओं पर भी नजर डालते हैं, जो उनमें होती हैं।
वे लोग जो आपको प्रेरणा देते हैं
कुछ मित्र हैं जो हमारी आँखों में आँखें डालकर देखते हैं और जान जाते हैं कि हम क्या सोच रहे हैं। वे छिपे हुए अंदरूनी भावों को समझने में सक्षम होते हैं। यह जानने के लिए कि हमें कब मदद की जरूरत है, उन्हें बस एक नजर डालने भर की जरूरत होती है। यह सहारा और उनकी गर्मजोशी हमें मजबूती देती है।
- ये दिमागी क्षमताएँ मस्तिष्क के दाएँ गोलार्ध से आती हैं। यह बाएं गोलार्ध की तुलना में ज्यादा लचीला, सृजनशील और चौकस होता है। यह सभी चीजों को एक भावनात्मक दुनिया से जोड़ता है।
- प्रेरणा देने वाला व्यक्ति परस्पर आदान-प्रदान वाले भावों को समझता है। वे पाने और देने, दोनों की अहमियत समझते हैं। साथ ही, वे ऐसे चुनाव कर पाने की अहमियत को भी समझते हैं जहाँ हरेक की जीत हो सकती है।
- इसके साथ-साथ, वे दूसरे लोगों की तरह नहीं दिखाई देते। वे मगरूर नहीं हैं। इन लोगों को यह दिखाने की जरूरत नहीं होती कि वे दूसरों से ज्यादा जानकार हैं।
जो आपको इन्स्पायर करते हैं, वे परेशान नहीं करते। वे चीजों को वैसे ही रहने देते हैं। हमें अनुसरण करने के लिए एक उदाहरण देते हैं। साथ ही वे हमारी पसंद, विचारों और राय का सम्मान करते हैं।
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वह व्यक्ति, जो हमें थका डालता है
हमने शुरुआत में ही एक चीज कही है। समाजिकता को सहने की हम सभी की एक सीमा होती है। कुछ लोग ज्यादा एक्स्ट्रोवर्ट होते हैं। वे बक-बक करने वालों, जोकरों और सर्वगत ऊर्जाशील व्यक्तियों से उतना ज्यादा नहीं थकते। दूसरी ओर, कुछ व्यक्तियों का दिमाग ज्यादा शांत स्तरों पर काम करता है। उन्हें सतर्क रहने की जरूरत है। कुछ ऊर्जाशील व्यक्ति इन्ट्रोवर्ट लोगों को थका डालते हैं।
एक चीज है जिस पर हम सभी सहमत हो सकते हैं। कुछ लोगों का साथ हमेशा अप्रिय होता है। वे या तो मनौवैज्ञानिक तौर पर प्रतिकूल हैं या शारीरक रूप से बेतरतीब हैं।
उनमें कुछ ऐसे लक्षण हो सकते हैं :
- ये नेगेटिव लोग हैं।
- ऐसे लोग केवल समस्याएँ ढूँढ़ते हैं और बेपरवाह आलोचना करते हैं। वे हमेशा गिलास को आधा खाली ही देखते हैं।
- नेगेटिव होने के अलावा, उन्हे पक्का विश्वास है कि सारी दुनिया उनके खिलाफ है। इस तरह के आदमी के पास दूसरों के लिए कोई इज्जत नहीं होती।
- वे सम्मान नहीं देते क्योंकि वे सिर्फ अपने बारे में सोचते हैं। उन्हे खुद अपनी नाक से आगे कुछ भी दिखाई नहीं देता। उनकी पहली और आखिरी सोच है नम्बर वन पर होना।
इस तरह के व्यक्ति के साथ रहना आसान नहीं है। उन्होंने अपने दिमाग पर ताला डाल रखा है। इसके अलावा एक और चीज है जो सबसे खराब है। वे अपने आसपास की दुनिया को समझने में नाकाम होते हैं। ऐसे बहुतेरे व्यक्ति हैं जिनसे आपका सामना हो सकता है। हम आपको नेगेटिव लक्षणों से निपटने के कुछ आइडिया देना चाहते हैं।
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थकाऊ लोगों से बच कर कैसे रहें
उनसे भागने की कोशिश मत कीजिए। आखिरकार हम सभी के परिवार में उनके जैसा कोई न कोई होता है। वे सोचते हैं कि जिस तरह वे बात करते हैं वह नॉर्मल है।
हो सकता है, किसी मित्र या पार्टनर के बात करने के तरीके थकाऊ हैं।
अपने और उनके बीच एक दूरी बनाकर रखना अहम है। सम्मान दें, मगर अपनी जगह दृढ़ रहें।
वे कोई खुन्दक पाले हुए हो सकते हैं या दूसरों के लिए हमेशा आलोचनात्मक हो सकते हैं और इसके बारे में बातें करना ही उन्हें पसंद होता है। उन्हें बता दीजिये कि इस तरह की बातचीत में आपकी कोई दिलचस्पी नहीं है।
उन्हें खारिज न करें और नीचा न दिखाएँ।
अपने और उनके बीच एक सम्मानजनक दूरी बनाएँ। यह साफ कर दें कि आप उन्हें समझते हैं और उनका सम्मान करते हैं। और यह भी कि आपके सोचने और रहने का तरीका उनके समान नहीं है।
हो सकता है, आपको इन जैसे लोगों के साथ बहुत ज्यादा समय बिताना पड़े। तब जितना मुमकिन हो, कम सुनने और बातें करने की कोशिश करें। एक राहत देने वाले दृश्य की कल्पना भी करने की कोशिश करें, जहाँ उससे बचकर निकला जा सकता है।
बाद में, जब आप उनसे दूर हों, आराम और सुकून की साँस लें। अपने मन में उन्हें हवी न रहने दें। करने के लिए कुछ पॉजिटिव ढूढ़ने की कोशिश करें।
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Rueckert L, Naybar N. Gender differences in empathy: the role of the right hemisphere. Brain Cogn. 2008 Jul;67(2):162-7. doi: 10.1016/j.bandc.2008.01.002. Epub 2008 Mar 4. PMID: 18295950.