थायरॉइड की स्थिति : क्या सबकुछ ठीक-ठाक काम कर रहा है
क्या आपको लगता है, आपकी थायरॉइड ठीक तरह से काम नहीं कर रही है? आज हम आपको यह जाँचने के लिए कुछ चीज़ें बताएँगे कि वाकई कोई समस्या है या नहीं। अपनी थायरॉइड की सेहत से जुड़े कुछ सबसे सामान्य लक्षण और जटिलताओं के बारे में जानें।
जैसा कि आप जानते हैं, थायरॉइड आपकी गर्दन में ट्रैकिआ के ठीक सामने एक तितली नुमा आकार की ग्लैंड है। यह आपके शरीर में अहम भूमिका निभाती है। इस पर थायरॉक्सिन और ट्राईआयोडोथायरॉनिन हार्मोन बनाने की जिम्मेदारी होती है। इसके साथ यह आपके मेटाबोलिज्म और दूसरे अंगों को रेगुलेट करती है।
इससे भी बड़ी बात यह है कि, इसके इतना अहम होने की वजह यह भी है कि आपके शरीर की प्रत्येक कोशिका को विकसित होने और बढ़ने के लिए थायरॉइड हार्मोन पर निर्भर होना पड़ता है। इसलिए यह अंग इनमें से सभी गतिविधियों को प्रभावित करता है:
- हृदय गति
- कोलेस्ट्रॉल
- शरीर का वजन
- एनर्जी लेवल
- मांसपेशियों की ताकत
- त्वचा
- मासिक धर्म
- याददाश्त
यह ध्यान रखना अहम है कि काम करने के लिए आपकी थायरॉइड आयोडीन का इस्तेमाल करती है। थायरॉइड के सही कामकाज के लिए आयोडीन एक आवश्यक तत्व है। शरीर इसे आपके भोजन से हासिल करता है।
आयोडीन की कमी से इस अंग में समस्या हो सकती है या इसकी मौजूदा गड़बड़ी और बदतर हो सकती है। जैसा कि आप जानते हैं, दुग्ध उत्पाद, फल और सब्जियां, लहसुन, बीन्स और केल्प जैसे खाद्य पदार्थों से आप आयोडीन प्राप्त कर सकते हैं।
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थायरॉइड की गड़बड़ी के आम लक्षण
सबसे पहले यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण होगा कि, दुर्भाग्य से कोई भी ऐसा विशिष्ट लक्षण नहीं है जो शुरुआती स्टेज में बताये कि थायरॉइड सिस्टम ठीक से काम नहीं कर रहा है। हालाँकि किसी गड़बड़ी के सबसे विश्वसनीय इंडिकेटर लैब टेस्ट ही हैं।
इसके अलावा आपको पता होना चाहिए कि थायरॉइड की गड़बड़ियों के सामान्य लक्षण हैं जो दूसरी कई समस्याओं से मिलते-जुलते हैं। उदाहरण के लिए,
- स्ट्रेस
- थकान
- डिप्रेशन
- स्मृतिध्वंश (Dementia)
इसके अलावा आपके थायरॉइड की साइज बढ़ सकती है और इसका आकार बदल सकता है। इस मामले में हम इसे “गंडमाला या घेंघ” (goiter) कहते हैं। इस मामले में आप गले में एक छोटा उभार देखते हैं। दुर्भाग्य से ध्यान रखें कि थायरॉइड की गड़बड़ी आमतौर पर बिना लक्षणों वाली होती है। हालाँकि, थायरॉइड की खाराब स्थिति के पहले लक्षणों में से एक निगलने या साँस लेने में मुश्किल होना है। आपकी आवाज़ में बदलाव भी आ सकता है।
दूसरी ओर, सबसे जानी-मानी स्थितियां हाइपर और हाइपोथायरॉइडिज्म की है, जिनमें इस ग्रंथि का आकार बढ़ भी सकता है और नहीं भी।
हाइपोथायरॉइडिज्म के लक्षण (Symptoms of hypothyroidism)
हाइपरथायरॉइडिज्म की तुलना में हाइपो थायरॉयइडिज्म चार गुना ज्यादा आम है। इसका मतलब है, आपकी थायरॉइड ज़रूरत से कम हार्मोन उत्पन्न करती है। इस प्रकार हार्मोन की यह कमी आपके शरीर को ठीक से काम करने नहीं देती।
इसके अलावा, हाइपोथायरॉइडिज्म के कुछ लक्षण हैं:
- थकान
- ठंड के प्रति संवेदनशीलता
- भूख और वजन में कमी (4 से 8 पाउंड तक, द्रव प्रतिधारण का परिणाम)
- बढ़ा हुआ ब्लड प्रेशर
- सर्दी-जुकाम, रूखी, खुरदुरी त्वचा
- ध्यान केंद्रित करने और याददाश्त से जुड़ी समस्याएं
- आवाज और चलने-फिरने में धीमापन
- मासिक धर्म की अनियमितता
- मांसपेशियों और जोड़ों का दर्द
- ऊर्जा में कमी और नींद न आना
यदि आपको हाइपोथायरॉइडिज्म है, तो आपको हर किस्म के फ़ूड ग्रुप में से हर तरह के खाद्य से बना बैलेंस डाइट खाना चाहिए। विशेष रूप से फाइबर से भरपूर और कम वसा वाले खाद्य पर ध्यान दें। साथ ही, आपको वजन ठीक रखने और बेहतर महसूस करने के लिए रोजमर्रा की शारीरिक गतिविधियाँ बढ़ानी चाहिए।
इसे भी पढ़ें : सतर्कता बरतने के लिए हाइपोथायरॉइडिज्म के 9 शुरुआती लक्षण
हाइपरथायरॉइडिज्म के लक्षण (Symptoms of hyperthyroidism)
हाइपरथायरॉइडिज्म थायरॉइड ग्रंथि की एक अन्य खराब स्थिति है। हाइपोथायरॉइडिज्म से अलग, इस मामले में आपका शरीर ज़रूरत से ज्यादा हार्मोन उत्पन्न करता है। इससे यह आपके मेटाबोलिज्म को तेज कर देता है। हालांकि यह पहली बार में “अच्छी” बात लग सकती है, लेकिन इसके साथ कुछ जटिलतायें जुड़ी हैं। उदाहरण के लिए,
- हृदय गति और रक्तचाप में बढ़ोतरी
- एंग्जायटी
- अनिद्रा
- भूख बढ़ना और वजन घटना
- गर्मी के प्रति संवेदनशीलता
- पतले, नाजुक बाल
- मांसपेशियों की कमज़ोरी
- नज़रों का कमजोर होना
- मासिक धर्म की अनियमितता
- बार-बार मल त्याग करना
- कंपकंपाहट
- पसीने में बढ़ोतरी
यदि आपको हाइपरथाययरॉइडिज्म है, तो आपको संतुलित और भरपूर कैलोरी वाला खाना खाना चाहिए। इस स्थिति के लक्षणों का सही प्रबंध करने के लिए डॉक्टर से सहायता पाना अहम है।
कुल मिलाकर, यदि आपको संदेह है कि इस ग्लैंड में कोई समस्या हो रही है, तो डॉक्टर से मिलकर जांच कराएं। जितनी जल्दी आप समस्या का पता लगाएंगे, उतना ही बेहतर होगा। इसके अलावा, यह न भूलें कि एक न्यूट्रिशनिस्ट इनमें से कई समस्याओं से निपटने में आपकी मदद कर सकता है।
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