धैर्य और मौन: बुद्धिमान लोगों के दो अनमोल गुण

धैर्य एक ऐसा गुण है जिसे आप समय के साथ हासिल कर सकते हैं। बुद्धिमान लोग अपने और अपने आस-पास की दुनिया, दोनों के लिए धैर्य का मूल्य जानते हैं।
धैर्य और मौन: बुद्धिमान लोगों के दो अनमोल गुण

आखिरी अपडेट: 23 दिसंबर, 2018

कन्फ्यूशियस एक चीनी फिलासफर थे। उनका कहना था, जो व्यक्ति जीवन की छोटी-छोटी समस्याओं को धैर्य के बल पर नहीं जीत सकता वह शक्तिहीन बन कर रह जाएगा। वह जीवन की बड़ी मुश्किलों का सामना करने में भी असमर्थ होगा।

हर व्यक्ति धैर्य जैसे गुणों को विकसित नहीं कर पाता है। मौन भी सबसे महत्वपूर्ण गुणों में से एक है। इन दोनों गुणों का सही महत्व समझना ज़रूरी है।

क्या आप मौन का सही अर्थ समझते हैं?

  • आप मौन का सही अर्थ सिर्फ तब समझते हैं, जब आप जानते हों कि आपको कब शांत रहना है।
  • आपके भीतर दूसरों को शांतिपूर्वक सुनने की योग्यता होनी चाहिए।
  • मौन का मतलब है अपने लिए ऐसी जगह ढूँढना जहाँ आप एकांत में अपनी आतंरिक दुनिया में खुद से बात कर सकें।

याद रखें, शांत रहने का यह मतलब नहीं होता है कि आप खुद को परेशान कर रहे हैं, न ही इसका यह मतलब है कि आप भविष्य के नतीजों के डर से अपनी राय छुपा रहे हैं।

मौन का मतलब ऐसी बातों को लेकर चुप रहना है, जो शिकायत करने योग्य नहीं हैं। मौन का यह भी अर्थ है कि आप शांत रहकर अपनी भावनाओं को सुन पाएं।

धैर्य और मौन दोनों ही बुद्धिमान लोगों के अनमोल गुण हैं। ये आपके व्यक्तिगत विकास के लिए बहुत ज़रूरी हैं।

आज हम जीवन के इन दोनों महत्वपूर्ण पहलुओं की बात करेंगे।

धैर्य और मौन: बुद्धिमान लोगों के दो अनमोल गुण

धैर्य और मौन, दोनों एक ही सिक्के के दो पहलू हैं। यहाँ आप मूल अमेरिकी संस्कृति में इसका एक उदाहरण देख सकते हैं।

लेखक केंट नेरबर्न ने “नो वुल्फ नॉर डॉग: द फॉर्गाटन टेल्स ऑफ़ एन ओल्ड इंडियन” जैसी किताबों में इस विषय के बारे में बात की है। वे इस बात पर रोशनी डालते हैं कि नेटिव अमेरिकन लोगों के लिए धैर्य और मौन जैसे विषय कितने महत्वपूर्ण हैं।

नेटिव अमेरिकन और मौन के बीच का सम्बन्ध

लाकोटा प्रजाति के लोग उत्तरी अमेरिका के सीओउक्स जनजाति का हिस्सा हैं। वे बुद्धिमान लोग हैं और उनके भीतर गहरी आध्यात्मिकता समाई हुई है। हमारे पास अब भी उनसे सीखने के लिए बहुत कुछ है।

लाकोटा प्रजाति के लोग अदृश्य या न दिखने वाली शक्तियों के साथ जुड़ने में विश्वास रखते हैं।

  • इनका मानना है कि इस तरह के न दिखने वाले अस्तित्व के लोगों से जुड़ना, अन्य लोगों के साथ रिश्ता बनाने का प्रतीक है: इस प्रकार आप अपने दोस्तों, परिवार और प्रियजनों के संपर्क में आते हैं।
  • लाकोटा लोग मानते हैं कि किसी के साथ जुड़ने के लिए आपको सम्मान और मौन, दोनों की ही ज़रूरत होती है। यहाँ मौन का अपना विशेष स्थान है।

मौन का अद्भुत महत्व

  • यहां मौन रहना सिर्फ सुनने के बारे में नहीं है। इसका ज्यादा गहरा अर्थ है।
  • मौन अपने आपमें एक गिफ्ट की तरह है। अपने समय और विश्वास के साथ-साथ आप लोगों को मौन का उपहार भी दे सकते हैं।
  • आपको कई बार ऐसा महसूस होगा कि अगर आप किसी के साथ हैं और दोनों के बीच मौन का एक पल आता है, तो आप असहज महसूस करने लगते हैं।
  • इस तरह की असहजता से बचने के लिए अक्सर लोग अपने मन में आती सबसे पहली बात बोल देते हैं।
  • हमें अपने इस व्यवहार को बदलने की ज़रूरत है।
  • आप एक दूसरे के साथ बिना कुछ बोले भी सहज महसूस कर सकते हैं। यदि आपके पास ऐसे दोस्त हैं, जिनके साथ आप ऐसा रिश्ता सांझा करते हैं, तो ऐसे रिश्ते के जादू से बढ़कर कुछ भी नहीं है।
  • लाकोटा, इसी अदृश्य शक्ति से जुड़ने में विश्वास रखते हैं। ऐसे रिश्तों में बोलने का कोई भी दबाव नहीं होता है।
  • नेटिव अमेरीकियों के लिए मौन एक बहुत बड़ा गुण है। मौन के माध्यम से वे उन सभी चीज़ों के बारे में जान सकते हैं जो  उन्हें पृथ्वी , प्रकृति, अन्य लोगों और जीवन चक्र के साथ जोड़े हुई हैं।

इन सभी पहलुओं पर विचार करना और इन्हें गहराई से समझना महत्वपूर्ण है।

धैर्य एक कला है जिसे सिखाना संभव नहीं, लेकिन आप इसे हासिल कर सकते हैं

ऐसा कोई भी नहीं है जो आपको शिक्षा दे कि आप दुनिया में वह नहीं पा सकते, जिसकी चाहत आपको है।

साथ ही, ऐसा भी कोई नहीं जो आपसे यह वादा कर सके कि आप जो चाहेंगे उसे हासिल कर ही लेंगे। लोगों का ऐसा मानना है कि धैर्य रखना एक ‘समर्पण’ जैसा है।

लेकिन धीरज धरना वास्तव में एक कला है, जिसे आपको समय के साथ विकसित करना पड़ता है। यह कला आपको निराशा से लड़ने की ताकत देती है। यह सिखाती है कि हमे जीवन में आने वाली कठिन परिस्थितयों से लड़ना पड़ता है – ऐसा सिर्फ धैर्य ही सिखाता है, कोई किताब या टीचर नहीं।

धैर्य रखने का अर्थ कभी भी हार न मानना है। अगर वैसा न हो जैसा आप चाहते थे, तो भी कभी अपने लक्ष्य को छोड़ें नहीं। याद रखें, शांति और विश्वास का दूसरा नाम धैर्य ही है।

धैर्य रखने वाले लोगों का सामर्थ्य

  • जो लोग धैर्य रखते हैं, वे चुप रहना जानते है और मौन रहकर सोचना जानते है।
  • वे अपने आसपास के वातावरण पर ध्यान दे पाते हैं।
  • ऐसे लोग अपना अंतर्ज्ञान विकसित करना जानते हैं और अपने काम को पूरा करने के लिए सबसे अच्छा पल खोज पाने में सक्षम होते हैं।
  • जो लोग बाहरी शोर, अन्य लोगों के शोर (या अपने स्वयं के) नकारात्मक विचारों पर रोक लगाना नहीं जानते,  वे कभी भी अपने लक्ष्यों तक नहीं पहुंच पाएंगे।
  • ऐसा इसलिए है क्योंकि धैर्य के साथ यह जानना ज़रूरी है कि आपको किस बात को महत्व देना है और किस बात को टालना है।

याद रखें, यदि आपका कोई सपना है, तो आप कभी भी किसी को अपने सपनों के रास्ते में बाधा बनने की अनुमति नहीं दे सकते हैं।

जिन लोगों को सब्र करना आता है, वे इस बात को जानते हैं कि यदि उनसे आज कोई अवसर छूट गया है तो उन्हें कभी न कभी वो फिर से मिलेगा।

धैर्य और मौन के गुणों का विकास करके आप अन्य महत्वपूर्ण गुण जैसे दृढ़ता, साहस और उम्मीद को भी विकसित कर सकते हैं।

हम आशा करते हैं, यह लेख आपको इन गुणों के महत्व को समझने में सहायता करेगा।

 




यह पाठ केवल सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए प्रदान किया जाता है और किसी पेशेवर के साथ परामर्श की जगह नहीं लेता है। संदेह होने पर, अपने विशेषज्ञ से परामर्श करें।