आप उन्हें आकर्षित करते हैं जो आपके प्रतिबिंब हैं
यकीन करें या न करें, आप उन लोगों को आकर्षित करते हैं, जो आपके प्रतिबिंब होते हैं। यह मान लेना मुश्किल हो सकता है, लेकिन आपने ही इन विषैले व्यक्तियों को अपने जीवन में आमंत्रित किया है।
यह ऐसा कुछ नहीं है, जिसे आप कहते हैं या आप जिसकी तलाश में थे। फिर भी जो एनर्जी आप छोड़ते हैं, वह ऐसे लोगों को आकर्षित करेगी जिन्हें आप आकर्षित करना नहीं चाहते हैं।
क्या आप इसे रोक सकते हैं? इस बारे में ज्यादा जानकारी इस लेख से हासिल करें।
आप उन लोगों को आकर्षित करते हैं जिनमें आपकी झलक हो : उनसे सीखें
सबसे पहले बता दें कि अपनी गलतियों से सीखना बहुत जरूरी है। हर बार का गिरना विफलता नहीं है। यह महसूस करने का अवसर है कि आप जो कर रहे हैं वह सही नहीं है।
ऐसा ही दूसरे लोगों के साथ है।
आपके आसपास जो कुछ भी घट रहा है उससे सीखते रहिए। अपनी आँखें खोलें : आप उन्हें ही आकर्षित करते हैं जो आपके प्रतिबिंब हैं।
आप अपने लिए दुखी हो सकते हैं क्योंकि अपने आसपास के लोगों से आपने चोट खायी है। फिर भी क्या आपने गौर किया है कि ऐसा हमेशा ही होता है?
अपने साथी को दोष मत दीजिए। आप पीड़ित की भूमिका में खड़े नहीं हो सकते। यह विचार करना महत्वपूर्ण है कि समस्या खुद आप भी हो सकते हैं। बार-बार एक ही टाइप के लोगों तक पहुंचकर आप जरूर कुछ गलत कर रहे हैं। इस तरह के व्यक्तियों को आप किसी न किसी कारण वश ही आकर्षित करते हैं।
हो सकता है, आप शुरू से क्या सोच रहे हैं, वह आप नहीं बता रहे हैं। शायद आपने समर्पण कर दिया है, या संबंधों की बागडोर अपने साथी को थाम लेने दिया है। अगर आप ऐसा कर रहे हैं, तो आपके लिए किसी भिन्न स्वभाव वाले व्यक्ति के साथ रहना असंभव होगा।
आपमें इसे खत्म करने की ताकत है। हालांकि, आप जो व्यवहार कर रहे हैं, उसपर ध्यान देने की जरूरत है।
उदाहरण के लिए कहें तो, यदि किसी के साथ कुछ महीने के संबंध के बाद आप उन्हें नापसंद करने लगे हैं, जैसा कि अक्सर होता है, तो हो सकता है समस्या यह हो कि आपने उस व्यक्ति को शुरू से ही बहुत ज्यादा आदर्श मान लिया था।
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हम उस प्रेम को स्वीकार करते हैं जिसके बारे में हमें विश्वास है कि हम उसके लायक हैं
क्या आप खुद का सम्मान करते हैं? खुद से प्रेम करते हैं? खुद की कदर करते हैं?
ये साधारण से प्रश्न हैं। लेकिन इनका जवाब तुरंत देने की कोशिश न करें। कभी-कभी हम सोचते हैं, जवाब ‘हां’ है। जबकि वास्तव में ऐसा नहीं है।
अगर आप उन्हें आकर्षित करते हैं जो आपका सम्मान नहीं करते, तो हो सकता है आपको यह सोचना चाहिए कि आप खुद का सम्मान नहीं कर रहे हैं। क्योंकि आप भरापूरा महसूस करने के लिए, यह महत्वपूर्ण जिम्मेवारी हो सकता है दूसरे को देने की कोशिश कर रहे हैं।
वे क्यों कहते हैं कि वे आपसे प्रेम करते हैं, जबकि वे नहीं करते? शायद इसीलिए कि आप स्वयं से प्रेम नहीं कर पा रहे हैं, क्योंकि आप दूसरों से उम्मीद कर रहे होते हैं कि वे आपसे प्रेम करें। ताकि आप अपने को भरापूरा अनुभव करें, खाली खाली-सा नहीं।
आप संबंधों का उपयोग करते हैं, जब आप ‘एकाकीपन‘ से घबराकर भागने लगते हैं।
यद्यपि आप सतर्कता से ऐसे व्यक्ति को ढूंढ रहे होते हैं जो आपका पूरक हो, अवचेतन में जिस प्रेम के लायक पने को मानते हैं वह बहुत मामूली होता है।
अगर आप अपनी इज्जत खुद नहीं करते, तो यह असम्भव है कि आप जिन्हें आकर्षित करते हैं वे भी आपकी इज्जत करें। आप कैसे समझ सकते हैं कि जो आप नहीं हैं वही बनने की कोशिश कर रहे हैं?
आप सोच सकते हैं कि आप ज्यादा प्रेम प्राप्त करने के अधिकारी नहीं है, कि आप इतने अच्छे नहीं हैं जितना अच्छा दूसरों की नजर में होना चाहिए, आप बेकार हैं, आप किसी दूसरे की तुलना में कम आकर्षक हैं… यह सब सच नहीं है।
अपनी तुलना या अपने को खारिज करना बंद कीजिए। आप सच्चे हैं, अनोखे हैं और श्रेष्ठ होने के अधिकारी हैं। अन्यथा ऐसा सोचना आपको खुश नहीं कर सकता। न ही उन्हें आकर्षित कर सकता है जो आपके जीवन में कुछ योगदान कर सकता था।
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अपने आप को स्वीकार करें और खोज करें कि कौन हैं आप
इसका मतलब यह कदापि नहीं है कि अपनी देह में निवास करने के कारण आप अपने आपको पहचानते हैं। आपको अभी लंबी दूरी तय करनी है, अगर आप उपरोक्त कुछ बातों को जान लें।
आप निश्चित रूप से उस व्यक्ति के प्रेम में पड़ जाते हैं जिसे आप रोज सुबह आईने में देखते हैं। खामियों, त्रुटियों के बावजूद आप विश्वसनीय हैं, प्राकृतिक हैं, सुंदर हैं।
आप अपने विचार को सारे शोरगुलों के बीच डूबने मत दें। यह खोजने में गोते लगाएं कि आप सचमुच चाहते क्या हैं। यह खोज करें कि आप खुश कैसे होते हैं और उन सारी चीजों को निकाल फेंके जिनका योगदान आपके जीवन में सकारात्मक नहीं है। ये सारी चीजें आपकी राह में बाधक हैं जिन पर आप चलना चाहते हैं।
आप जिन्हें आकर्षित करते हैं वे अपनी मर्जी से आपको दुख नहीं देते। आपने ही उन्हें अपने अपने जीवन में आमंत्रित किया था।
उन्हें बदलने के इरादे से समय और ऊर्जा की बरबादी से बचें। उन्हें पा कर अपनी बदनसीबी का रोना न रोएं। अभी कुछ करने का समय है। यह समय अपने आप पर ध्यान देने का समय है।
आप इस पर ध्यान न दें कि दूसरों में क्या कमी है, क्योंकि अपनी कमी आपको नहीं देने जा रहे हैं। यह आपको मात्र खालीपन का एहसास कराएगा। लोग जीवन में आते ही रहते हैं, उनमें से ज्यादातर हमेशा के लिए नहीं टिकते हैं। वह जो आपको कभी नहीं छोड़ेगा, वह जिसकी आप हमेशा अपेक्षा करेंगे, वह स्वयं आप हैं।
अपने को प्रेम करना सीखिए, अपना ख्याल रखना सीखिए, क्योंकि आप इसके योग्य हैं।
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