गले में खराश से राहत पाने के नुस्ख़े
सोर थ्रोट यानी गले में खराश से राहत पाना आसान नहीं है। इसके कई विकल्प हैं, पर यह लगातार बबी रह सकती है और कई दिनों तक बेचैनी का कारण भी बन सकती है।
गले में खराश के कई संभावित कारण हो सकते हैं। हालांकि हम जानते हैं, सबसे आम कारण साँस-नली के ऊपरी हिस्से में संक्रमण होना हैं। ठंड के मौसम में ग्रसनीशोथ (Pharyngitis) होना बहुत आम बात है। दूसरे रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन भी जो ऐसे ही लक्षण पैदा करते हैं। ये हैं सर्दी लगना, साइनसाइटिस (sinusitis) और लैरींजाइटिस (laryngitis)। ये सभी वायरस की वजह से होते हैं। इसलिए एंटीबायोटिक ट्रीटमेंट की सिफारिश नहीं की जाती है, और एंटीबायोटिक दवाओं से गले में खराश से राहत भी नहीं मिलती।
शिथिलता (dysphonia), स्वरभंग (hoarseness) और गले में खराश (sore throat ) के दूसरे कारण हैं:
- शुष्क वातावरण : शुष्क हवा म्यूकस मेम्ब्रेन को सूखा देती है। अगर आप नाक की बजाय मुंह से ज्यादा सांस लेते हैं, तो इससे आपका गला सूख सकता है।
- एलर्जी: जिन लोगों को धूल और कण से एलर्जी है, वे अक्सर गले में खराश से पीड़ित होते हैं।
- गले की थकान: जोर देकर या चिल्लाकर बोलना गले को थका देता है।
- गले में जलन पैदा करने वाले तत्व : कुछ केमिकल हवा में होने पर शरीर में प्रवेश कर सकते हैं और फेरिंक्स के लिए परेशानी खादी कर सकते हैं। इसमें तंबाकू का धुआं भी शामिल है।
- GERD (Gastroesophageal reflux disease) रोग : इसमें पेट से हाइड्रोक्लोरिक एसिड गले के एसोफैगस में गले तक चढ़ आता है। यह एसिड जलन पैदा करता है।
गले में खराश से राहत पाने के नुस्ख़े
आइए गले की खराश से राहत पाने के आठ नुस्खों पर नज़र डालें।
1. गरारे करना
गार्गल या गरारे करना गले की खराश से राहत देने वाला एक बेहतरीन नुस्खा है। आपको नमक मिले गर्म पानी का इस्डातेमाल करना चाहिए। यह मिश्रण जलन को कम करने, फेरिंक्स की सूजन से राहत देता है।
इस क्लासिक मिश्रण में एक गिलास पानी में आधा चम्मच नमक डालना पड़ता है। यदि आप नमकीन स्वाद को बर्दाश्त नहीं कर सकते हैं, तो इसमें शहद मिला लें। आदर्श रूप से, आपको दिन में कई बार गरारे करना चाहिए।
पढ़ते रहें: शहद और गाजर के सिरप से बलगम का मुकाबला करें
2. शहद गले में खराश से राहत पाने के सबसे अछे विकल्पों में से एक है
जैसा कि हमने ऊपर बताया है, पानी और नमक में आप शहद मिला सकते हैं। इसे सीधे चम्मच में भी ले सकते हैं। पर आपको इसे धीरे-धीरे निगलना चाहिए जिससे यह सूजन वाली कोशिकाओं के संपर्क में आ सके।
शहद कोशिकाओं से सटकर म्यूकोसा पर एक बैरियर बनाती है। यह बैरियर डिहाइड्रेशन और सूक्ष्मजीवों यहाँ चिपकने से रोकता है।
याद रखें, आप एक साल से कम उम्र के बच्चों को शहद नहीं खिला सकते हैं। इसका कारण यह है कि इस बात का खतरा हो सकता कि शहद के सेवन से शिशु बॉलुटिज्म से बीमार हो सकता है।
अपने ख़ास गुणों के कारण शहद गले की खराश से राहत देने वाला एक बेहतरीन विकल्प है। हालाँकि आपको इसे शिशुओं को नहीं देना चाहिए।
3. हार्ड कैंडी या लोज़ेंस
कियोस्क और फार्मेसियों में हार्ड कैंडी मिलती हैं जो गले में खराश से राहत देती है। इनमें यूकलिप्टस जैसे प्राकृतिक सामग्रियाँ भी हो सकती हैं। उन्हें चूसने पर लार ज्यादा बनती है। यह म्यूकोसा को हाइड्रेट करता है और अस्थायी रूप से ख़राश के लक्षणों से छुटकारा दिलाता है। हालांकि, इस इलाज में समस्या यह है कि आपको अक्सर दिन में कई लोज़ेंस चूसने की ज़रूरत पड़ती है।
4. गले में खराश से राहत के लिए हाइड्रेशन
म्यूकस मेम्ब्रेन के लिए हाइड्रेशन बहुत महत्वपूर्ण है। दरअसल गले में खराश होना डिहाइड्रेशन का पर्याय भी हो सकता है। इसलिए आपको बाहर से इसे हाइड्रेट करना होगा। आदर्श रूप से आपको पानी पीना चाहिए और कॉफी जैसे दूसरे ड्रिंक से बचना चाहिए।
हम सूप और चाय जैसे हॉट ड्रिंक का उपयोग करने की भी सलाह देंगे। यह मिश्रण पोषक तत्वों के साथ-साथ हाइड्रेशन भी करता है। इनमें सोडियम और पोटेशियम जैसे माइक्रोन्युट्रिएंट भी शामिल हैं।
यहाँ और अधिक जानकारी प्राप्त करें: पुदीने की चाय में हैं सेहत के चमत्कारी गुण
5. हीट लेना
गर्दन में गर्म कपड़ा बाँधने से इस हिस्से का तापमान बढ़ता है, जिससे ब्लड सर्कुलेशन बढ़ता है। इससे इस अंग में एंटी इन्फ्लेमेटरी सेल्स की मौजूदगी बढ़ जाती है और हाइड्रेशन बढ़ता है।
6. हॉट शावर
हॉट शावर भाप पैदा करता है, जो गले में खराश को राहत दे सकता है। साँस नली और मुंह में घुसकर गर्म भाप सूजन रोधी कम करता है।
हॉट शावर लेते समय गले में खराश से राहत नहीं मिलती है, लेकिन यह असहजता से राहत ज़रूर दिला सकता है।
7. हर कीमत पर धूम्रपान से बचें
सिगरेट और उससे निकलने वाले धुएं से गले में समस्या होती है। गले में खराश पैदा करने के अलावा अगर कोई संक्रमण है, तो धूम्रपान इसे भी बदतर कर सकता है। सिर्फ स्मोकिंग करने वाला ही प्रभावित नहीं होता, आस-पास के लोग भी अनजाने ही धूम्रपान कर लेते हैं।
यह वैज्ञानिक रूप से प्रामाणित है कि धूम्रपान करने वालों को रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन से पीड़ित होने की ज्यादा संभावना होती है। धूम्रपान करने वाले लोग क्रोनिक खांसी से पीड़ित हो सकते हैं।
8. पेन किलर
गले की खराश कुछ दिनों बाद अपने आप दूर हो सकती है। पर कभी-कभी आपको वर्क प्रेशर में इस प्रक्रिया में तेजी लाने की ज़रूरत पड़ सकती है। इन मामलों में दवा से इसके लक्षणों का इलाज करना संभव है।
पहला विकल्प एसिटामिनोफेन (acetaminophen) है। यह काफी सहज पेन किलर है जो लक्षणों से छुटकारा दिला सकता है। इसे छोटे बच्चों को भी दिया जा सकता है। दूसरा विकल्प आइबुप्रोफेन है जो पेन किलर होने के अलावा सूजन-रोधी भी है। ये दोनों दवाएं बुखार से लड़ती हैं।
- Salinas, Pedro. “Hierbabuena: usos medicinales, beneficios y precauciones.” Compartir 10 (2017): 22.
- Alarcón-Andrade, Gonzalo, Gonzalo Bravo-Soto, and Gabriel Rada. “¿ Son útiles los corticoides sistémicos en el manejo de la faringitis aguda?.” Medwave 17.09 (2017).
- Amoedo, Diego, and María Teresa Rosanova. “Faringitis recurrente.” Medicina Infantil 24.4 (2017).
- Pharmacognosy Res. 2017 Apr-Jun; 9(2): 121–127. Honey and Health: A Review of Recent Clinical Research. doi: 10.4103/0974-8490.204647
- XII CONGRESO NACIONAL DE CIENCIA Y TECNOLOGIA DE ALIMENTOS. Jueves 27 y Viernes 28 de Mayo de 2010. Guanajuato, Gto. DESARROLLO DE FORMULACIONES DE GOMITAS A BASE DE MIEL, PROPOLEO, MENTA Y EUCALIPTO. http://respyn2.uanl.mx/especiales/2010/ee-09-2010/documentos/desarrollo_nuevos_productos/DPN54.pdf
- PLoS One. 2014; 9(1): e84154. Published online 2014 Jan 9. No Evidence of Dehydration with Moderate Daily Coffee Intake: A Counterbalanced Cross-Over Study in a Free-Living Population. doi: 10.1371/journal.pone.0084154
- Int J Radiat Oncol Biol Phys. 1989 Nov;17(5):1041-7. Effects of temperature on blood circulation measured with the laser Doppler method. doi: 10.1016/0360-3016(89)90153-3.
- Salud Pública de México. Los riesgos del tabaquismo activo y pasivo. https://www.scielosp.org/article/spm/2002.v44suppl1/s144-s160/es/