3 स्थितियाँ जब आपको स्पोर्ट्स से बचना चाहिए

एक्सरसाइज शरीर के लिए बेहद फायदेमंद है और इसलिए एक डेली हैबिट बननी चाहिए। हालांकि कुछ स्थितियों में स्पोर्ट्स से बचना सबसे अच्छा निर्णय होता है
3 स्थितियाँ जब आपको स्पोर्ट्स से बचना चाहिए

आखिरी अपडेट: 20 जुलाई, 2020

एक्सरसाइज कोई मॉडर्न हैबिट नहीं है: फिजिकल एक्टिविटी और स्पोर्ट्स हमेशा समाजों के लिए महत्वपूर्ण रहे हैं।

प्राचीन भारत में खेल-कूद के अलावा भी योग जैसी व्यवस्थित फिजिकल एक्टिविटी प्रोग्राम एक लोकप्रिय शगल रहा। प्राचीन ग्रीस में फिजिकल एक्टिविटी के कार्यक्रम किए जाते थे। खेल खेलना स्वास्थ्य के लिए प्राथमिकता माना जाता था, और यह उल्लेख किया जाना चाहिए कि अपनी ताकत को व्यक्त करने का एक तरीका एस्थेटिक इमेज भी थी।

आपको एक्सरसाइज क्यों करनी चाहिए?

स्पोर्ट्स कार्डियोवैस्कुलर स्तर पर प्रदर्शन में सुधार करता है, क्योंकि यह हेमोडायनामिक, हार्मोनल, न्यूरोलॉजिकल और मेटाबोलिक बदलावों को एक्टिवेट करता है। इसलिए यह श्वसन प्रणाली के कार्य में सुधार करता है। शारीरिक गतिविधि आपकी सेहत में संतुलन लाती है।

लगातार एक्टिविटी बनाए रखना ऑस्टियोपोरोसिस, पीठ दर्द और खराब पोस्चर के कारण होने वाले नुकसान से बचाता है। हालांकि, खेल-कूद में भाग लेना हमेशा कोई सेहतमंद गतिविधि नहीं हो सकती। यह इस बात पर निर्भर करता है की इस दौरान आपका शरीर कौन सा फॉर्म लेता है और किन स्थितियों में प्रैक्टिस की जाती है।

आपको  स्पोर्ट्स से कब बचना चाहिए?


यह साफ़ है कि अत्यधिक या गलत तरीके से व्यायाम करना नुकसानदेह हो सकता है। उदाहरण के लिए हाई ब्लडप्रेशर वाले लोगों को अत्यधिक खेल-कूद से बचना चाहिए, क्योंकि इससे उनकी स्थिति बदतर हो सकती है। हालांकि, कुछ परिस्थितियां भी हैं जिनमें स्पोर्ट्स से बचना ही सबसे अच्छा विकल्प है।

यहाँ तीन स्थितियाँ हैं जब आपको खेलने से बचना चाहिए:

1. पर्याप्त नींद न लेने के बाद

अनिद्रा भरी रात बिताने के बाद हम कभी-कभी यह मान सकते हैं कि फिजिकल एक्टिविटी खुद को जगाये रखने का सबसे अच्छा तरीका है।

गलत!

अच्छी तरह से आराम न करने के बाद एक्सरसाइज रूटीन अपनाने से तनाव बढ़ता है। इसके अलावा इस मामले में इम्यून सिस्टम ज्यादा प्रयास के लिए तैयार नहीं हो पाता और इसका डिफेन्स सिस्टम गड़बड़ा जाता है।

यह बताने की जरूरत नहीं कि आप ऊर्जा की कमी के कारण मांसपेशियों पर तनाव बढ़ा देंगे जिससे चोट लगने का खतरा बढ़ जाता है। आप अपनी मांसपेशियों को स्ट्रेस में डालते हैं क्योंकि आप उसी तरह काम नहीं कर पाते जैसे कि रात को अच्छी नींद के बाद करते हैं।

हालाँकि अगर आप रात को अच्छी तरह से सो नहीं पाये हैं और अपनी एक्सरसाइज रूटीन को छोड़ना नहीं चाहते हैं, तो आप हमेशा टहलने या जोगिंग पर जा सकते हैं या आप जो सामान्य तौर पर करते हैं उसका आधा हिस्सा कर सकते हैं।

इसे भी जानें : 6 पॉपुलर स्पोर्ट्स जो कार्डियक हेल्थ को तंदरुस्त रखते हैं

2. शराब पीने के बाद स्पोर्ट्स न करें

शराब पीने के बाद स्पोर्ट्स न करें

स्पष्ट बता दें कि शराब पीना आपको स्पोर्ट्स से नहीं रोकता जब तक कि यह एक ऐसी एक्टिविटी न हो जिसमें सटीक होने की जरूरत हो। क्योंकि शराब परफॉरमेंस और स्ट्रेंथ को प्रभावित करती है, लेकिन विशेष रूप से कोआर्डिनेशन को। इथेनॉल अल्कोहल पीने वालों को पहले तो एक यूफोरिया की स्थिति में ले जाता है और फिर डिप्रेशन में जिससे उनकी सजगता कम होती है।

यह याद रखना अहम है कि शराब में मूत्रवर्धक असर होता है, जो फिजिकल एक्टिविटी के दौरान डिहाइड्रेशन का कारण बन सकता है। यह तरल पदार्थ, विटामिन और मिनरल की कमी का कारण होता है।

साथ ही इथेनॉल पोषक तत्वों को नियमित अवशोषित होने से रोकता है, जो शरीर के वजन में बढ़ोतरी को प्रोत्साहित करता है।

इसे भी पढ़ें : प्लांटर फेशियाइटिस : लक्षण, कारण और ट्रीटमेंट

3. चोट लगने के बाद

एथलिटों के लिए स्पोर्ट्स के समय चोटो लगा लेना बहुत आम है। कुछ सामान्य कारण हैं:

  • सही ढंग से मूव नहीं करना
  • सही ढंग से वार्मिंग नहीं करना
  • सामान्य से ज्यादा ट्रेनिंग
  • गलत जूते पहनना
  • सुरक्षा उपायों में कमी

चोटों के प्रकार

एथलिटों में चोट के सबसे आम कारण हैं:

  • तेज आघात। इसमें फ्रैक्चर, मोच, कटौती आदि शामिल हैं। वे एक झटका या अत्यधिक बल के परिणामस्वरूप हो सकते हैं।
  • ज्यादा भार पड़ने से होन वाली चोटें जैसे कि टेंडन के अत्यधिक उपयोग से होने वाली सूजन और फ्रैक्चर। लागातर दोहराव वाली रूटीन से ऐसी चोटें अक्सर लगती हैं।

लक्षण

चोट के मामले में सबसे आम लक्षण हैं:

  • तेज दर्द या छूने पर दर्द
  • कठोरता और सूजन
  • अंग को हिला-डुला नहीं पाना
  • टूटना या फ्रैक्चर।

यदि आपमें इनमें से कोई लक्षण दिखें तो आपको स्पोर्ट्स से बचना चाहिए।

हालाँकि यह भी जरूरी है कि आप किसी डॉक्टर के पास जाएँ। उसके बाद आपको अपने कोच को अपनी चोट और इलाज के बारे में सूचित करना चाहिए, और फिर धीरे-धीरे चिकित्सा-थेरेपी शुरू करना चाहिए।

एक्सरसाइज करते समय सिफारिशें

  • किसी भी मशक्कत भरी एक्सरसाइज को करने के लिए खुद को एक सर्टिफाइड स्पोर्ट्स एक्सपर्ट के हाथों में सौंपें।
  • टेक्नीक पर ध्यान दें और स्ट्रेंग्थ पर भी क्योंकि यदि आप इसे गलत तरीके से करें तो यह एक बड़ा जोखिम हो सकता है।
  • सुसंगत रहें और अपने आप पर ज्यादा भार डालने से बचें, क्योंकि कम समय में ज्यादा एक्सरसाइज व्यायाम करने से आपको वैसे नतीजे नहीं मिलेंगे जो आप पर्याप्त वक्त देने पर हासिल करते हैं।
  • वार्म अप। चोटों को रोकने और परफॉरमेंस में सुधार करने के लिए किसी भी फिजिकल एक्टिविटी को शुरू करने से पहले स्ट्रेचिंग करना वास्तव में महत्वपूर्ण है।
  • अगर आप अपना वजन घटाना चाहते हैं तो एक एरोबिक रूटीन से शुरुआत करें। वजन उठाना भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह आपकी मांसपेशियों को मजबूत करता है।
  • संतुलित डाइट बनाए रखें जो विटामिन और मिनरल से भरपूर हो।
  • खूब पानी पियें क्योंकि यह शारीरिक परिश्रम से उबरने का एकमात्र तरीका है। व्यायाम से पहले, उसके दौरान और बाद में पानी पीना जरूरी है।



यह पाठ केवल सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए प्रदान किया जाता है और किसी पेशेवर के साथ परामर्श की जगह नहीं लेता है। संदेह होने पर, अपने विशेषज्ञ से परामर्श करें।